मायूसी से भरी सुबह्य
बैचैनी मैं शाम होगी
मुस्कुराना छोड़ कर इक गुम सूम सी जान होगी
आगे बढ़ने के चक्कर मैं कितना सारा छोड़ आए हम
अब तन्हा अच्छा लगता है लगता है बड़े हो गए हम।💯
मायूसी से भरी सुबह्य
बैचैनी मैं शाम होगी
मुस्कुराना छोड़ कर इक गुम सूम सी जान होगी
आगे बढ़ने के चक्कर मैं कितना सारा छोड़ आए हम
अब तन्हा अच्छा लगता है लगता है बड़े हो गए हम।💯
Kya karu mein un nasamjho ko apna haal-e-dil batakar
Jinko aksar mere jazbaat keval shabad lagte hain…..🙃😏
क्या करूँ मैं उन नासमझों को अपना हाल-ए-दिल बताकर जिनको अक्सर मेरे जज़्बात केवल शब्द लगते हैं….. 🙃😏
Hasn nu jee taa wala karda
par khul ke haseyaa ni janda
oyea ta mere naal v kujh aa
aahi ta bol ke daseyaa ni janda
ਹੱਸਣ ਨੂੰ ਜੀਅ ਤਾ ਵਾਲਾ ਕਰਦਾ
ਪਰ ਖੁੱਲ੍ਹ ਕੇ ਹੱਸਿਆ ਨੀ ਜਾਂਦਾ
ਹੋਇਆ ਤਾ ਮੇਰੇ ਨਾਲ ਵੀ ਕੁਝ ਆ
ਆਹੀ ਤਾ ਬੋਲ ਕੇ ਦੱਸਿਆ ਨੀ ਜਾਂਦਾ…