फूल तो हमें सभी पसंद है
पर खुशबू सिर्फ गुलाब का पसंद है अच्छा लगता है..
वैसे तो हमें समुद्र भी पसंद है
पर डूबना हमें तुम्हारी आँखों में अच्छा लगता है..
फूल तो हमें सभी पसंद है
पर खुशबू सिर्फ गुलाब का पसंद है अच्छा लगता है..
वैसे तो हमें समुद्र भी पसंद है
पर डूबना हमें तुम्हारी आँखों में अच्छा लगता है..
इरादे उम्मीदों के,सख़्त लगते हो
तुम मुझे मेरा,बुरा वक्त लगते हो
होठों पर नज़र,नहीं जाती है क्या
माथा चूम कर,क्यू गले लगते हो
यार लहज़ा ऐसा, क्यूं है तुम्हारा
देखने में,इंसान तो भले लगते हो
तुम्हे क्या पता,दिल कहतें हैं इसे
तुम जो खिलोने, बेचने लगते हो
सच्चा इश्क़ ही तो, मांगा है मैंने
हर बार ये क्या, सोचने लगते हो
उदास हो कर कहते हैं,अलविदा
जब तुम ये,घड़ी देखने लगते हो
के कुछ पहेलियां भी,समझा करो
तुम मतलब,क्यों पूछने लगते हो
कोई ख्याल बचा कर,रखो भैरव
तुम तो बस,कलम ढूढने लगते हो
Jab se jana hai khud ko sfa mehtaab si ban gayi hai
Fizool nahi zindagi to shabab si van gayi hai❤️..!!
जब से जाना है खुद को सफा मेहताब सी बन गई है
फ़िज़ूल नहीं ज़िन्दगी तो शबाब सी बन गई है❤️..!!