Mohobbt Dino din goorhi ho rahi e
Teri rooh mere jism layi zaroori ho rahi e..!!
ਮੋਹੁੱਬਤ ਦਿਨੋਂ ਦਿਨ ਗੂੜ੍ਹੀ ਹੋ ਰਹੀ ਏ
ਤੇਰੀ ਰੂਹ ਮੇਰੇ ਜਿਸਮ ਲਈ ਜ਼ਰੂਰੀ ਹੋ ਰਹੀ ਏ..!!
Enjoy Every Movement of life!
Mohobbt Dino din goorhi ho rahi e
Teri rooh mere jism layi zaroori ho rahi e..!!
ਮੋਹੁੱਬਤ ਦਿਨੋਂ ਦਿਨ ਗੂੜ੍ਹੀ ਹੋ ਰਹੀ ਏ
ਤੇਰੀ ਰੂਹ ਮੇਰੇ ਜਿਸਮ ਲਈ ਜ਼ਰੂਰੀ ਹੋ ਰਹੀ ਏ..!!

तेरी हंसी मुरझाऐ फुलों को भी फिर से खिला दे,
जब झपकाऐ तु पलकें तो ,सुरज को भी ग्रहण लगा दे,
चाल तेरी ऐसी जैसे लहराती हो पीपल की डाल कोई,
और जब खुली हों तेरी जुल्फें तो काली घटा झा जाऐ!
बोल तेरे ऐसे जैसे जलेबी से चासनी टपक जाऐ,
क्या लिखुं तेरी खुबसुरती को तु है गणित का सवाल कोई!