main mar bhee jaoo… to use khabar bhee na hone dena,
masharoof sa shakhs hai… kahee usaka vaqt barbaad na ho jaaye
मैं मर भी जाऊ… तो उसे ख़बर भी ना होने देना,
मशरूफ़ सा शख्स है… कही उसका वक़्त बर्बाद ना हो जाये
main mar bhee jaoo… to use khabar bhee na hone dena,
masharoof sa shakhs hai… kahee usaka vaqt barbaad na ho jaaye
मैं मर भी जाऊ… तो उसे ख़बर भी ना होने देना,
मशरूफ़ सा शख्स है… कही उसका वक़्त बर्बाद ना हो जाये
राजनीति की दुनिया में खेल बहुत है,
कोई जीता है, कोई हारा है।
सत्ता की भूख और वाद-विवाद,
मन में जलती चिंगारी है।
राजनेताओं की रंगीन छलावा,
जनता को वहमों में बँधाता है।
कुछ वादे खाली और कुछ झूले धूले,
आम आदमी को खोखला बनाता है।
वाद-विवाद के आगे सच्चाई छिपती,
लोकतंत्र की मूल्यों पर भारी है।
शोर और तामझाम में खो गई है,
सम्मान, सद्भाव और आदर्शि है।
नीतिबद्धता और समर्पण की कमी,
राजनीति को कर रही है मिट्टी।
सच्ची सेवा की बजाए प्रतिष्ठा,
हौसले को तोड़ रही है मिट्टी।
चाहे जितना बदले युगों का सफ़र,
राजनीति का रंग हर बार वही।
प्रशासनिक शक्ति की लालसा में,
जनता भूल जाती है खुद को वही।
Teri Yaad Nu Bura Kyun Kahiye,
Jehri Har Pal Saath Nibhaundi Ae,
Tere Naalo Ta Teri Yaad Hi Changi,
Jehri Haale V Saanu Milan Aundi Ae,
Dukh Dil Vich Luko Ke Hanju Naina Vich Pro K,
Tere Aan Di Udeek Asi Layi Baithe Ha,
Kar Tu Yaqen Sanu Bhul Jaan Waleya,
Asi Tere Piche Duniya Bhulai Baithe Ha.🥀