
Fer kall tere naal nafrat ho gayi taan daga na samjhi..!!
मैं हूँ मुहब्बत,और मेरे मिटने का सवाल ही नहीं❤️
मैं रेत पर लिखी हुई कहानी नहीं
जो लहरों से मिट जाऊँ
मैं बारिश नहीं
जो बरस के थम जाऊँ
मैं हवा नहीं
जो तुम्हारे पास से गुज़र जाऊँ
मैं चाँदनी नहीं
जो रात के बाद ढल जाऊँ
तुम तो वो परवाने हो,
जो जलता रहेगा पर उफ़ तक नहीं करेगा💔
मैं शमा नहीं हूँ
जो परवाने को जला दु
मैं वो रंग हूँ
जो तेरी रूह पर चढ़कर कभी न उतरे
मैं तो वो मुहब्बत हूँ
जो तेरी रग-रग में लहू बन कर गर्दिश करे
Mann ✍️❤️
हो विष्णु तुम धरा के,
हल सुदर्शन तुम्हारा !!
बिना शेष-शैया के ही,
होता दर्शन तुम्हारा !!
पत्थर को पूजने वाले,
क्या समझेंगे मोल तेरा !!
माँ भारती के ज्येष्ठ सुत,
तुमको नमन हमारा !!!
तरुण चौधरी