मोहब्बत तर्क की मैं ने गरेबाँ सी लिया मैं ने
ज़माने अब तो ख़ुश हो ज़हर ये भी पी लिया मैं ने
अभी ज़िंदा हूँ लेकिन सोचता रहता हूँ ख़ल्वत में
कि अब तक किस तमन्ना के सहारे जी लिया मैं ने
उन्हें अपना नहीं सकता मगर इतना भी क्या कम है
कि कुछ मुद्दत हसीं ख़्वाबों में खो कर जी लिया मैं ने
बस अब तो दामन-ए-दिल छोड़ दो बेकार उम्मीदो
बहुत दुख सह लिए मैं ने बहुत दिन जी लिया मैं ने
अगर औरत नहीं होती तो मोहब्बत नहीं होती।
अगर बंगाल नहीं होती तो देश नहीं होती।
—————————————————————————–
हर इंसान में दिल है।
भारत में भी बंगाल है।
——————————————————————————-
मर्द सिर्फ इंसान होता है।
औरत माँ होती है।
——————————————————————————–
इंसान को दुःख देने में मजा आता है।
इंसान के दुःख में सिर्फ कुत्ते रोता है।
——————————————————————————–
जिंदगी का स्टेशन में ट्रैन रोक गयी।
समय कभी रुकता नहीं, छुट्टी गुज़र गयी।
——————————————————————————–
समय का नदी, में अकेला नहीं।
पिता नाव हे, माँ माझी, जिंदगी यही।
——————————————————————————–