Upar jiska ant na ho use aasmaa kehte hai
aur dharti par jiska ant na ho use maa kehte hai
उपर जिसका अंत ना हो उसे आसमां कहते हैं,
और धरती पर जिसका अंत नहीं उसे माँ कहते हैं।
-विक्रम
Upar jiska ant na ho use aasmaa kehte hai
aur dharti par jiska ant na ho use maa kehte hai
उपर जिसका अंत ना हो उसे आसमां कहते हैं,
और धरती पर जिसका अंत नहीं उसे माँ कहते हैं।
-विक्रम
ਮਨ ਵਿੱਚ ਮੈਂਲ ਤੇ ਉਤੋਂ ਉਤੋਂ ਚੰਗੇ ਹੋਣ ਦਾ ਦਿਖਾਵਾ ਕਰਨਾ…..
ਇਹ ਚਲਾਕੀਆਂ ਓਹਦੇ ਦਰ ਤੇ ਨੀ ਕਬੂਲ ਹੁੰਦੀਆਂ …
man vich mail te uto uto change hon da dikhawa karna
eh chalakiyaa ohde dar te ni kabool hundiyaa
खो गई थी धड़कनें जो कहीं
वो वापस ले आया हूं मैं,
थोड़ी ठीक है थोड़ी ज़ख्मी हैं
फिर भी वापस ले आया हूं मैं,
क्या बातें थी याद करो तो दिल बैठ गया,
कदम लड़खड़ाते रहे, वो पल याद आते रहे,
आज बहकते बहकते ही सही,
खुद को वापस ले आया हूं मैं,
हाथ ज़ख्मों पर हैं,
और ज़ख्म धड़कनों पर,
बाजी पलटती रही,
हम धड़कनें लगाते रहे ज़ख्मों पर,
थोड़ी देर और सही,
आज शाम नहीं कल की सवेर सही,
घर तो लौट आया हूं मैं,
देखो खुदको वापस ले आया हूं मैं.....