
Dilaan de rishte kade nahi tutde
kujh lokaan te kujh thawan naal
jiwe ke ajh v turde turde dise mainu tera parchhawan naal
Dilaan de rishte kade nahi tutde
kujh lokaan te kujh thawan naal
jiwe ke ajh v turde turde dise mainu tera parchhawan naal
Main khush hu mujhe khush rehne do,
Main dur hu mohabbaton ke wehamon se mujhe dur rehne do….!!!
मैं खुश हूं मुझे खुश रहने दो,
मैं दूर हूं मोहोब्बतों के वहमों से मुझे दूर रहने दो….!!!
परिचय
जीवन की दार्शनिक परिभाषा अपनी जैविक परिभाषा से व्यापक रुप में भिन्न है। जीव विज्ञान जीवन के भौतिक पहलुओं को ही मानता है, जबकि दर्शन उन गुणों को मानता है जो जीवन को दूसरों के लिए योग्य बनाता है। इस निबंध में हम जीवन को समझने की कोशिश करेंगे, और जैविक और दार्शनिक दोनों बिन्दुओं से इसे देखने की कोशिश करेंगे।
जीवन एक सुंदर उपहार है
हम में से अधिकांश लोगों का मत है कि जीवन एक सुंदरउपहार है। जीवन को एक सुंदरउपहार के रुप में देखा जाता है क्योंकि इसके कारण दूसरों के लिए इसका मूल्य होता है। इस ग्रह का प्रत्येक जीवन एक विशिष्ट उद्देश्य के लिए होता है। पेड़, पशु, पक्षि, मनुष्य, कीड़े, सभी अपने-अपने तरीके से ग्रह और अन्य जीवन के विकास में योगदान करते है।
इसके अलावा, मानव जीवन एक बहुत बड़ा उपहार है क्योकि यह मौजूदा जीवन रूपों में सबसे शक्तिशाली है। मनुष्य के पास सपने देखने, काम करने और लक्ष्य हासिल करने जैसी असाधारण क्षमता होती है, और इस ग्रह पर इस तरह की कोई अन्य प्रजाति नहीं है। इसके अलावा मनुष्य अच्छे और बुरे दोनों कारणों से ग्रह के प्रत्येक जीवन को प्रभावित करता है। मानव जीवन एक उपहार है क्योंकि यह अन्य कमजोरों और कमजोर जीवन को बचाने के लिए और उसका संरक्षण करने के लिए होता है। यह दार्शनिक जीवन की सौहार्द या सुंदरता थी। अब जीवन की भौतिक सुंदरता पर ध्यान देते है। मनुष्यों को असाधारण रुप से निपुण अंगों और कुशल मस्तिष्क के साथ बनाया गया है, जिससे उन्हें दूसरों से श्रेष्ट माना जाता है। इन शक्तियों कि वास्तविक सुंदरता जीवन के सभी अच्छे कारणों से कितने जीवन को प्रभावित करता है यह उसपर निर्भर करता है।
जीवन एक सफर है
जीवन की पूर्वावश्यकताओं में से एक है जीवन का विकास। जहां जीवन है वहां विकास है। जैसे विकास की अवस्थाएं होती है वैसे ही जीवन की यात्रा चलती है। आइए हम मानव जीवन के उदाहरण पर विचार करें। जब बच्चा पैदा होता है, तो वह छोटा होता है और उनका शारीरिक और मानसिक रुप से विकास नहीं हुआ होता है, लेकिन जैसे-जैसे समय बीतता है वैसे ही बच्चा बढ़ता रहता है। इसी तरह अन्य सभी प्रजातियों के साथ भी होता है।
समय के साथ-साथ जीवन बढ़ता है और अधिक प्रमुख हो जाता है। प्रत्येक वर्ष बीतने के साथ ही बच्चे समझदार और बड़े होते जाते है, और वो जल्दी ही एक स्मार्ट युवा हो जाते है। अन्य जीवन रूपों के साथ भी ऐसा ही होता है। यहां बहुत सारी नई चीजे है, और सभी अनुभव बढ़ने के साथ-साथ ही सीखते है। इसलिए यह कहना गलत नही होगा कि जीवन विकास और अनुभवों की यात्रा है और सभी को समझदार और मूल्यवान बनाने के लिए है।
निष्कर्ष
यह हमेशा ध्यान में रखना चाहिए कि जीवन एक बहुत मूल्यवान उपहार है, लेकिन यह केवल मानव जीवन ही नहीं है, यहां तक की सबसे कमजोर प्रजातियों का जीवन भी बहुत मूल्यवान होता है, जैसे कि ऋषियों में से एक बुद्धिमान ऋषि का जीवन होता है।