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Umang Patel

Mohabbat hai koi lagaav nai

मोहब्बत है कोई लगाव नहीं,

मोहब्बत है कोई लगाव नहीं,

कांटो भरी रह है कोई फुलो की चादर नहीं,

अगर हंस के गुजर दिए हर लम्हे तो,

अगर हंस के गुजर दिए हर लम्हे तो,

वो मोहब्बत कैसी,

क्या मोहब्बत तो तुम्हें रोना भी सिखाती है…

Umang Patel