उलझा रहता हु खयालों में,
तेरी यादों के सवालों में,
जब भी तुझे सोचता हु,
मिल जाती है जवाबों में….
उलझा रहता हु खयालों में,
तेरी यादों के सवालों में,
जब भी तुझे सोचता हु,
मिल जाती है जवाबों में….
जो तुम्हे मुझसे थी वो बस जरूरत थी
जो मैने कभी तुमसे की थी वो मेरी मोहब्बत थी
जो तुम्हारी नज़र ने देखा वो महज एक नजरियां था
जो मेरी नजर ने देखा वो मेरी मोहब्बत थी
जो तुमने गुजारी मेरे साथ वो बस वक्त गुजारी थी
जो मैने गुजारी तुम्हारे साथ वो मेरी मोहब्बत थी
ओर जो सिर्फ़ तन्हाई तक सीमित रही वो यार तेरी हदें थी
जिसे सर–ए–आम लिखा मैने वो मेरी मोहब्बत थी।❤️
Ajh phir aaye ne kalje ch haul
te akhiyaan vich pani
kale baithiyaan nu jadon yaad aayi o marzaani
ਅੱਜ ਫਿਰ ਆਏ ਨੇ ਕਾਲਜੇ ‘ਚ ਹੌਲ
ਤੇ ਅੱਖੀਆਂ ਵਿੱਚ ਪਾਣੀ
ਕੱਲੇ ਬੈਠਿਆਂ ਨੂੰ ਜਦੋਂ ਯਾਦ ਆਈ ਓਹ ਮਰਜਾਣੀ