
Sache pyar te kade jittt nahi pa sakdi..!!

Ye faisla tha tumara ya zamaane ki faramiash thi….khare utare har mod par jab jab aajmaish ki….huye jo door aapse ye bhi to aap hi ki khawahish thi🥀
ये फैसला था तुम्हारा या ज़माने की फरमाइश थी….खरे उतरे हर मोड़ पर जब जब आजमाइश की….हुए जो दूर आपसे ये भी तो आप ही की ख्वाइश थी🥀
अब कौन रोज़ रोज़ ख़ुदा ढूंढे,
जिसको न मिले वही ढूंढे ..
रात आयी है, सुबह भी होगी,
आधी रात में कौन सुबह ढूंढे..
जिंदगी है जी खोल कर जियो,
रोज़ रोज़ क्यों जीने की वजह ढूंढ़े..
चलते फिरते पत्थरों के शहर में,
पत्थर खुद पत्थरों में भगवान ढूंढ़े..
धरती को जन्नत बनाना है अगर,
हर शख्स खुद में पहले इंसान ढूंढे…!!!