
mohobat adhoori reh gai
Enjoy Every Movement of life!
स्त्री हूं मैं मेरा कहां सम्मान होता है
मेरे कपड़ों से मेरा चरित्र भाप लिया जाता है।
अगर जींस या वेस्टर्न ड्रेस पहन लूं मैं
तो मैं बिगड़ी हुई मान ली जाती हूं।
अगर मैं साड़ी भी पहनूं तो भी
उसमे भी खोट नजर आती है।
मेरी साड़ी में भी कमिया ही नजर आती है।
यहां तो एक औरत भी औरत का सम्मान नही करती
एक औरत को दूसरी औरत में भी खोट नजर आती है।
मेरे कपड़ों में कोई कमी नहीं कमी तुम्हारी नज़र में है
मैं कुछ भी पहन लूं तुम्हे कमी नजर आनी ही है।