Kithe jaake maafi mangega || sad shayari was last modified: May 19th, 2024 by Sukh Pardeshi
Well done is better than well said
दो चार दिन का इश्क़ हम नहीं किया करते,
गाँव का आशिक हूँ यूही किसी से प्यार किया नहीं करते…💯🥀
तेरा ईश्क रहता है , मेरे सपनों के शहर में ।
दबी जुबां में मुझसे , एक बात कहता है ।।
मन में बसी है तू , दिल तुझसे मिलने को बेकरार है ।
नाराजगी छोड़ दे ना , तेरा प्यार तो मेरे लहू में बहता है ।।
ख्वाबों की गलियों में , बसी चाहत है सनम ।
फितूरी का खुमार भी , बस तेरा ही नाम कहता है ।।
आँखों में नींद नहीं , सुकून में भी चैन नहीं ।
बस इजहार-ए-मोहब्बत का ख्याल , हर पल मेरे जहन में रहता है ।।